बलिदानियों की गौरव गाथा पहुंचाने गौरव गाथा यात्रा

8 जनवरी को महाराष्ट्र से शुरु हुई थी यात्रा

विश्व संवाद केंद्र, भोपाल    17-Jan-2022
Total Views |
swagat  
गुना. रणभूमि में बलिदानी वीरों का स्मरण कर उनके बलिदान से देश को परिचित कराने के उद्देश्य से निकाली जा रही गौरव गाथा यात्रा रविवार को गुना पहुंची। इस दौरान यात्रा का भव्य स्वागत किया गया। इस मौके पर महावीरपुरा स्थित सरस्वती शिशु मंदिर में आयोजित कार्यक्रम में समन्वय मंच के दक्षिण असम प्रांत संयोजक डॉ. संदीप राज ने बताया कि भारतीय स्वाधीनता की 75वीं वर्षगांठ पर आयोजित किए जा रहे अमृत महोत्सव कार्यक्रम के अंतर्गत महाराष्ट्र के पुणे से अमृतसर स्थित पानीपत रणभूमि पर कृतज्ञता जागरण अभियान के तहत यह गौरव गाथा यात्रा निकाली जा रही है।
 
डॉ. संदीप ने बताया कि यात्रा 8 जनवरी को महाराष्ट्र के पुणे से शुरु हुई थी। यात्रा ने 14 जनवरी को अमृतसर स्थित पानीपत की रणभूमि पर इस महासंग्राम की 261वीं वर्षगांठ पर अपने योद्धा पूर्वजों को नमन किया और वहां एक जाग्रति सभा भी रखी गई। जिसमें पानीपत के योद्धा, वीर शिवाजी महाराणा प्रताप जैसे वीरों का स्मरण करते हुए उनकी गौरव गाथा से युवाओं को परिचित कराया गया।
 
स्वाधीनता के इतिहास को नवीन शिक्षा प्रणाली में और विस्तारित किया गया है। उन्होंने कहा कि पहले अकबर और अन्य आक्रांताओं का महिमामंडन किया जाता था, किन्तु अब नई शैक्षणिक सामग्री में महाराणा प्रताप, वीर शिवाजी जैसे योद्धाओं का वर्णन किया जा रहा है। यानि स्थिति बदल रही हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान में आवश्यकता इस बात की है अपने स्वर्णिम इतिहास से देश के युवाओं को परिचित कराया जाए। यात्रा 26 जनवरी को पुणे पहुंचेगी। कार्यक्रम का संचालन स्वाधीनता अमृत महोत्सव आयोजन समिति संयोजक गोपाल स्वर्णकार ने किया इस दौरान पांचों सदस्यों का शॉल- श्रीफल से सम्मान किया गया।
 
इस यात्रा का जगह जगह स्वागत किया जा रहा है. गुना सीमा के म्याना भदौरा में इस यात्रा का ग्रामीण जनों ने स्वागत किया.